नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां 27 वर्षीय एक युवती ने यौन सुख की चाहत में अपने मलद्वार में मॉइस्चराइजर की बोतल डाल ली, जिसके बाद उसकी हालत गंभीर हो गई। इस घटना के बाद उसे पेट दर्द और शौच न कर पाने की गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ा। दो दिनों तक असहनीय दर्द से जूझने के बाद युवती को गंगा राम अस्पताल में भर्ती कराया गया।
शर्म के कारण देरी, हालत बिगड़ी
जानकारी के अनुसार, युवती ने शुरुआत में शर्मिंदगी के डर से किसी डॉक्टर को दिखाने से परहेज किया और घर पर ही बोतल निकालने की कोशिश की। हालांकि, वह इसमें असफल रही। बाद में स्थानीय अस्पताल में जांच के दौरान एक्स-रे से पता चला कि उसके मलद्वार (रेक्टम) के ऊपरी हिस्से में बोतल फंसी हुई है। वहां के डॉक्टर भी बोतल निकालने में असमर्थ रहे। आंत फटने के खतरे को देखते हुए तुरंत सर्जरी की सलाह दी गई।
सिग्मॉइडोस्कोपी से निकाली गई बोतल
गंगा राम अस्पताल के आपातकालीन वार्ड में भर्ती होने के बाद डॉक्टरों ने सिग्मॉइडोस्कोपी की मदद से बोतल को सफलतापूर्वक निकाल लिया। सर्जरी के दौरान आंत को काटने की जरूरत नहीं पड़ी, जिससे मरीज को कम दर्द हुआ और ठीक होने की संभावना बढ़ गई। डॉक्टरों ने बताया कि बोतल को पूरी तरह सुरक्षित तरीके से निकाल लिया गया। युवती की हालत में सुधार होने के बाद उसे अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
सर्जरी में शामिल थी विशेषज्ञों की टीम
इस जटिल सर्जरी को डॉ. तरुण मित्तल, डॉ. आशीष डे, डॉ. अनमोल आहूजा, डॉ. श्रेयष मंगलिक और एनेस्थेटिस्ट डॉ. प्रशांत अग्रवाल की टीम ने अंजाम दिया। डॉ. अनमोल आहूजा ने बताया कि ऐसे मामलों में समय बहुत महत्वपूर्ण होता है। देरी होने पर आंत फटने का खतरा बढ़ जाता है, जो जानलेवा हो सकता है। उन्होंने यह भी कहा कि यौन सुख के लिए बोतल, सब्जियां या अन्य वस्तुएं मलद्वार में डालने के मामले अक्सर देखने को मिलते हैं, जिसके परिणामस्वरूप मरीजों को गंभीर परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
चिकित्सकों की सलाह
डॉक्टरों ने लोगों से अपील की है कि ऐसी खतरनाक गतिविधियों से बचें और किसी भी असामान्य लक्षण के दिखने पर तुरंत चिकित्सीय सलाह लें। समय पर इलाज से न केवल जटिलताओं को रोका जा सकता है, बल्कि मरीज की जान भी बचाई जा सकती है।